NIA की विशेष अदालत ने विशाखापट्टनम नेवी जासूसी केस में दो और आरोपियों को सजा सुनाई है. इसके साथ ही अब तक इस केस में चार लोगों को सजा हो चुकी है. कोर्ट ने मुंबई के मोहम्मद हारून हाजी अब्दुल रहमान लकदवाला को UAPA कानून की धारा 17 और 18 के तहत साढ़े 5 साल कैद, जबकि गुजरात के गोधरा निवासी इमरान याकूब गीतेली को 6 साल कैद की सजा सुनाई है.
दोनों आरोपियों पर 5,000 का जुर्माना भी लगाया गया है. अगर वे जुर्माना नहीं चुकाते हैं तो उन्हें एक साल की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी. ये मामला देश की सुरक्षा से जुड़ा है, जिसमें विदेशी जासूसों ने भारतीय नेवी की अहम यूनिट्स और ठिकानों से जुड़ी गोपनीय जानकारी हासिल करने की कोशिश की थी.
व्हाट्सएप के जरिए करते थे भारत की जासूसी
NIA की जांच में सामने आया कि लकदवाला और गीतेली, दोनों विदेशी खुफिया एजेंसियों के एजेंट थे और भारत में जासूसी कर रहे थे. जांच के मुताबिक, दोनों आरोपी पाकिस्तान के जासूसों से व्हाट्सएप के जरिए संपर्क में रहते थे.
उनके पाकिस्तान में रिश्तेदार भी हैं और वहीं से इनकी मुलाकात पाकिस्तानी खुफिया एजेंसियों से हुई थी. वे पाकिस्तान के साथ कपड़ों और दूसरी चीजों का गैरकानूनी कारोबार करते थे और इसी कारोबार से कमाई गई रकम का इस्तेमाल भारत में जासूसी गतिविधियों को फंड करने में करते थे.
भारतीय अधिकारियों के अकाउंट में मनी ट्रांसफर
NIA ने बताया कि इन दोनों ने पाक एजेंटों के निर्देश पर मुंबई और गोधरा से भारतीय नौसेना के कुछ अधिकारियों के अकाउंट में ऑनलाइन मनी ट्रांसफर और बैंकिंग चैनलों के जरिए पैसे भेजे थे. NIA ने दिसंबर 2019 में ये केस आंध्र प्रदेश पुलिस की इंटेलिजेंस डिपार्टमेंट से अपने हाथ में लिया था.
इस केस में अब तक 15 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें 11 भारतीय नौसेना के कर्मचारी भी शामिल हैं. जून 2020 में NIA ने 14 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी. जबकि मार्च 2021 में एक और आरोपी के खिलाफ सप्लीमेंट्री चार्जशीट दायर की गई. NIA ने कहा है कि इस केस की जांच और ट्रायल अब भी जारी है.
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